एहसासों को सहलाती हुई
शक्कर की तरह मीठी
एक कप चाय
जब कोई पूछता है
बड़े प्यार से
तो महज वो
दूध और चायपत्ती
को उबालकर बनी हुई एक कप चाय
नहीं होती
वो एक माध्यम होती है
एहसासों को सहलाने की
क्योंकि चाय के बहाने
साँझा होती है हम सब की
कुछ चीनी सी
मीठी यादें
कुछ चायपत्ती सी कड़वी
बातें.......
अपने कुछ
अनुभव,कुछ आशाएं
कुछ नयी उम्मीदें..?
और कुछ ही समय में
उस एक प्याली
चाय के साथ
बट जाते है
जिंदगी के वो पल
जो अक्सर अनकहे रह जाते है !!
- संजय भास्कर