20 अप्रैल 2010

जो आँखों में ही रहते है

 होंठो की जुबां ये आंसु कहते है ,
चुप रहते है मगर फिर भी बहते है
इन आंसुओ की किस्मत तो देखो
ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |

51 टिप्‍पणियां:

मनोज कुमार ने कहा…

मारक! ये पंक्तियां...
ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |
बेहतरीन।

Unknown ने कहा…

वाह दोस्त बहुत अच्छा लिखा है आपने
बधाई

EKTA ने कहा…

ye ansu b ajeeb hote hain...
dil ka dard ankho k raste se baha dete hain,

Kulwant Happy ने कहा…

पिक्चर एक दम मस्त लगा है भाई। शेयर तो अद्भुत होते ही हैं।

Anushi ने कहा…

bahut sunder.bhaw puurn .badhaai anushii

वन्दना अवस्थी दुबे ने कहा…

बढिया है.

M VERMA ने कहा…

ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |

पलकें झपक कर आँखों में कैद कर लो
बहुत सुन्दर

बेनामी ने कहा…

bahut hi behtareen....
aapko padhkar achha lagta hai....
yun hi likhte rahein....

Narendra Vyas ने कहा…

बेहुत ही खूबसूरत भावाभिव्‍यंजना | बधाई ।।

chakresh singh ने कहा…

bahut acha likha hai sir ji...keep it up!

अनामिका की सदायें ...... ने कहा…

ek dam sach baat.

पी.सी.गोदियाल "परचेत" ने कहा…

Bahut sundar , waakai aaj kaa sher umdaa hai !

माधव( Madhav) ने कहा…

अच्छा है

समय चक्र ने कहा…

बहुत सुन्दर...

दिलीप ने कहा…

badhiya sher yaad dilaya...abhi kuch din pehle hi ek mitr ne mobile bheja tha

kunwarji's ने कहा…

behtareen!

gaagar me saagar!

kunwar ji,

Shekhar Kumawat ने कहा…

wow yar bahut sundar muktak he


bahut khub

jabardast he

shekhar kumawat

http://kavyawani.blogspot.com/

ताऊ रामपुरिया ने कहा…

बहुत सुंदर.

रामराम.

Unknown ने कहा…

बहुत शानदार प्रस्‍तुति संजय भास्‍कर आपको नमन इसी तरह कम शब्‍दों में भावनाएं जगाते रहें, ढेर सारी शुभकामनाएं

हर्षिता ने कहा…

बहुत सुन्दर प्रस्‍तुति संजय जी।

कडुवासच ने कहा…

इन आंसुओ की किस्मत तो देखो
ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |
....bahut khoob ... badhaai !!!

Akshitaa (Pakhi) ने कहा…

बहुत सुन्दर लिखा आपने अंकल जी !

________________
'पाखी की दुनिया' में इस बार माउन्ट हैरियट की सैर करना न भूलें !!

Tapashwani Kumar Anand ने कहा…

इन आंसुओ की किस्मत तो देखो
ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |

bahut dhansu ...........

nilesh mathur ने कहा…

कमाल का लिखा है, दिल खुश कर दिया !

वाणी गीत ने कहा…

आंसुओं की किस्मत ...वही रहते हैं ...जहाँ वो रहते हैं ...
बढ़िया है ..:)

संजय कुमार चौरसिया ने कहा…

achha likha hai
aapko dhnyvad

Dev ने कहा…

lajawaab rachna .......bhavo ko bahut ghrai se vyakt kiya hai aapne

संजय भास्‍कर ने कहा…

AAP SABHI BAHUT BAHUT SHUKRIYA
UMEED HAI AAGE BHI MERA HOSLA BADHATE RAHENGE...


DHANYAWAAD.....

Pushpendra Singh "Pushp" ने कहा…

संजय जी अपने बहुत गहरी बात बहुत
कम शब्दों में बयां कर दी ......abhar

रश्मि प्रभा... ने कहा…

waah....aansu unke liye jo aankhon me hain

अरुण चन्द्र रॉय ने कहा…

kam shabdo me kya baat keh di aapne... lajawab... pehli baar aapke blog par aaya aur aapka prashanshak ho gaya.. wonderful !

चन्द्र कुमार सोनी ने कहा…

आभार.
धन्यवाद.
WWW.CHANDERKSONI.BLOGSPOT.COM

नीरज गोस्वामी ने कहा…

अद्वितीय...बेमिसाल रचना...और संलग्न चित्र तो अद्भुत है..बधाई..

नीरज

Roshani ने कहा…

Sanjay ji bahut hi acchi rachna ki hai aapne.
Badhaii.

मुकेश कुमार तिवारी ने कहा…

प्रिय संजय,

आँसुओं के लिये खूब कहा और हमदर्द भी बने। श्री मनोज जी, रश्मिप्रभा जी, पंकज गोस्वामी जी आदि के कहने के बाद मेरे लिये तो कुछ बचा ही नही।

बहुत अच्छा लगा आपको पढ़ना।

सादर,

मुकेश कुमार तिवारी

Urmi ने कहा…

बहुत बढ़िया लिखा है आपने! शानदार!

kshama ने कहा…

ये उन के लिए बहते है ,
जो आँखों में ही रहते है |
Wah! Kya likha hai!

NaMaN ने कहा…

dhanywaad sanjay ji aapke tippaniyo ki liye.....

अंजना ने कहा…

वाह बहुत खुब और चित्र भी लाजवाब है।

बेनामी ने कहा…

सुंदर लिखा है.
अच्छा लगा.

KESHVENDRA IAS ने कहा…

संजय जी, आपके ब्लॉग के शीर्षक की shan में मेरी एक ताजा त्रिवेणी पेश है-
"मुस्कराने की ये आदत"

हर ख़ुशी में मुस्काया हूँ, हर ग़म पे हूँ मुस्काया.
नन्हे के तोतले बोल पे और तेरी शरारती छुअन पर मैं मुस्कराया.

मुस्कराने की ये आदत तो, लगता है ऐसा, जान जाने पे ही जाएगी.

KESHVENDRA IAS ने कहा…

संजय जी, आपके ब्लॉग के शीर्षक की shan में मेरी एक ताजा त्रिवेणी पेश है-
"मुस्कराने की ये आदत"

हर ख़ुशी में मुस्काया हूँ, हर ग़म पे हूँ मुस्काया.
नन्हे के तोतले बोल पे और तेरी शरारती छुअन पर मैं मुस्कराया.

मुस्कराने की ये आदत तो, लगता है ऐसा, जान जाने पे ही जाएगी.

संजय भास्‍कर ने कहा…

Dhanyawaad Manoj ji,Ekta ji,Ameen ji,
Anushi ji,Vandaan ji,Verma ji,Shaekhar ji,Vyas ji,Chakresh ji,Anamika ji, Godiyal ji,Madav ji, Mahender ji, daleep ji,Kunwaj ji, Tau ji, Limty Ji,Harshita ji, shyam ji, akshita beta ,Tapaswani ji nilesh ji vani ji,sanjay ji, DEvesh bhai,Psing ji, Rashmi prbha mummy ji,Aarun ji, soni ji, Neraaj ji,Roshi ji, Mukesh ji, Babli ji,Kshamaji, Nikita ji,Anjana ji, Rajeev ji,Keshvendra ji, aap sbhi ka bahut -bahut shukriya aapne mera hoshla badhaya aur asha karta hoon aage bhi hosla badhate rahenge


Dhanyawaad,,,,,,,,

Sanjay bhaskar

Unknown ने कहा…

बहुत सुन्दर लिखा आपने

आदित्य आफ़ताब "इश्क़" aditya aaftab 'ishq' ने कहा…

अल्लाह! मार डाला ...........तुम्ही बताओ मित्र तुमने ये कोनसा रंग डाला

KAILASH MOHANKAR ने कहा…

Kya Baat Hai!
Marvellous!
Jo Din Raat Ankhon Mein Hi Rehata Hai Usi ke liye Ansu Nikal rahe Hai?
Wah1 Kya Khub Likha Hai!

Unknown ने कहा…

बहुत सुन्दर प्रस्‍तुति संजय जी।

Asha Lata Saxena ने कहा…

Beautiful.
Asha

संजय भास्‍कर ने कहा…

aap sbhi ka bahut -bahut shukriya aapne mera hoshla badhaya aur asha karta hoon aage bhi hosla badhate rahenge


Dhanyawaad,,,,,,,,

Sanjay bhaskar

suFiCat ने कहा…

beshak bahot khoob alfaaz rakam kiye hai

suFiCat ने कहा…

beshak bahot khoob alfaaz rakam kiye hai