12 अप्रैल 2010

दिल से दिल न जाने कब जुड़ जाते है....!



कुछ रिश्ते अनजाने में बन जाते है ,
पहले दिल फिर जिंदगी से जुड़ जाते है ,
कहते है उस दौर को ' दोस्ती '
जिसमे दिल से दिल न जाने कब जुड़ जाते है |

31 टिप्‍पणियां:

Shekhar Kumawat ने कहा…

wow !!!!!!!!!!!!!!!
जिसमे दिल से दिल न जाने कब जुड़ जाते है |

bahut khub

shekhar kumawat

http://kavyawani.blogspot.com/

Jandunia ने कहा…

दिल से दिल का जुड़ना बहुत अच्छी बात है।

Asha Lata Saxena ने कहा…

दिल से दिल का मिलना एक सुंदर भाव है |कविता अच्छी लगी |
आशा

मनोज कुमार ने कहा…

बहुत अच्छा लगा।

परमजीत सिहँ बाली ने कहा…

bahut sundar!!

कडुवासच ने कहा…

...बहुत खूब!!!!

दिगम्बर नासवा ने कहा…

Anjaane mein bane rishte hi door tak jate hain ....achhaa likha hai ...

Unknown ने कहा…

दोस्त तो बड़ी कमाल की चीज होते हैं यार

Chandan Kumar Jha ने कहा…

चलिये सलामत रखिये इस दोस्ती को

चन्द्र कुमार सोनी ने कहा…

bahut khoob.
i liked it.
thanks.
WWW.CHANDERKSONI.BLOGSPOT.COM

kshama ने कहा…

Dil jud to jate hain dostime...dosti nibhana sahaj nahi hota..bhavnik roopse jab sabse adhik zaroorat hoti hai,log haath chhudaake chal bhi dete hain....

ज्योति सिंह ने कहा…

sundar rachna ,

Unknown ने कहा…

Bahut khoob likha hai dost

संजय भास्‍कर ने कहा…

Dhanyawad shekhar ji, karan ji, kshama ji, chander ji,asha ji. verma ji. ameen ji ,suman ji.harshita ji. Htf ji,shyam ji ,dimple ji,kavita ji,ekta ji,zameer ji, sadhna ji,anamika ji babli ji madhav ji, vijay kumar ji, rachna ji,naswa ji
bahut bahut shukriya mea hoshla badhane ke liye

Dev ने कहा…

क्या खूब लिखा आपने ........गागर में सागर भर देते है आप ..

ताऊ रामपुरिया ने कहा…

बहुत बेहतरीन.

रामराम.

shama ने कहा…

Chand alfaaz,lekin kitni khoobsoortise aapne apni baat bayan kar dee! Wah!

रश्मि प्रभा... ने कहा…

waah

www.dakbabu.blogspot.com ने कहा…

खूब रही ये तो...उम्दा !!

माधव( Madhav) ने कहा…

बहुत अच्छा लगा।

Pushpendra Singh "Pushp" ने कहा…

बहुत ही खूबसूरत रचना
आभार

Urmi ने कहा…

सही कहा है आपने! बहुत खूब! उम्दा प्रस्तुती!

संजय भास्‍कर ने कहा…

रश्मि प्रभा Mummy जी
आपकी टिप्पणी ने मेरा मान व उत्साह बढाया है, बहुत बहुत धन्यवाद ... आभार ।

Unknown ने कहा…

अरे रहने बी दो यार दिल को न छुआ करो नहीं तो आतंकवादी गद्दारों का मुकावला कौन करेगा ।हम भी दोश्ती में ब्यसत हो जायेंगे।

IMAGE PHOTOGRAPHY ने कहा…

क्या अन्दाज है दोस्ती का...

रविंद्र "रवी" ने कहा…

संजय जी बहुत ही काम शब्दो में आप बहुत कुछ कः जाते है.

संजय भास्‍कर ने कहा…

Shukriya Aap sabhi ka ..... ap jaise mahanubhavo ki kripa rahi to lekhan me hum bhi kuch apne zazbaat byaan kar payenge..

Unknown ने कहा…

क्या अन्दाज है दोस्ती का...

S.M.HABIB (Sanjay Mishra 'Habib') ने कहा…

बहुत सुन्दर... सच्ची बात...
सादर...

Rohit Singh ने कहा…

चलो फिर दिल को जोड़ता हूं।

मेरा मन पंछी सा ने कहा…

ekdam sahi...
nice thoughts...
:-)