15 मार्च 2010

किसी से कम नहीं पीते


हम विस्की नहीं पीते हम रम नहीं पीते
हम जाम के नाम पर गम नहीं पीते 
अगर मिल जाये यारो की महफ़िल 
खुदा की कसम ,फिर किसी से कम नहीं पीते |


33 टिप्‍पणियां:

डॉ टी एस दराल ने कहा…

ड्राई डेज में भी ?? :)

ताऊ रामपुरिया ने कहा…

बहुत सही कहा. यारों की महफ़िल हो तो पीये बिना ही नशा रहता है.

रामराम.

Chandan Kumar Jha ने कहा…

क्या बात है………

विनोद कुमार पांडेय ने कहा…

achchi baat kisi se kam hona bhi nahi chahiye..badhiya prstuti

मनोज कुमार ने कहा…

बेहतरीन अभिव्यक्ति!

sonal ने कहा…

कहीं पढ़ा था
"उनकी निगाह से ऐसी शराब पी मैंने ना कभी होश का दावा किया
वो और होंगे जिन्हें मौत आई होगी निगाहे यार से पाई हैं ज़िन्दगी मैंने

sonal ने कहा…

कहीं पढ़ा था
"उनकी निगाह से ऐसी शराब पी मैंने ना कभी होश का दावा किया
वो और होंगे जिन्हें मौत आई होगी निगाहे यार से पाई हैं ज़िन्दगी मैंने

sonal ने कहा…

कहीं पढ़ा था
"उनकी निगाह से ऐसी शराब पी मैंने ना कभी होश का दावा किया
वो और होंगे जिन्हें मौत आई होगी निगाहे यार से पाई हैं ज़िन्दगी मैंने

वन्दना अवस्थी दुबे ने कहा…

अच्छा ही है ये तो.

शोभना चौरे ने कहा…

bahut bdhiya

चन्द्र कुमार सोनी ने कहा…

बढ़िया जी बढ़िया.
लगे रहो............
धन्यवाद.
WWW.CHANDERKSONI.BLOGSPOT.COM

शाहिद मिर्ज़ा ''शाहिद'' ने कहा…

संजय जी,
वो पंकज उधास जी तो कहते हैं...
थोड़ी-थोड़ी पिया करो???

रानीविशाल ने कहा…

waahji bhadiya hai...

Udan Tashtari ने कहा…

जरुर जमेगी एक दिन दोस्तों की महफिल!

Akanksha Yadav ने कहा…

बढ़िया अंदाज़ है..जमे रहें.
______________
भारतीय नववर्ष विक्रमी सम्वत 2067 और चैत्री नवरात्रारंभ पर हार्दिक शुभकामनायें.

KK Yadav ने कहा…

कम शब्दों में ऊँची बात..दाद देता हूँ आपकी.

Dev ने कहा…

बहुत खूब ....

EKTA ने कहा…

wah kya baat hai....
waise aajkal navratri ka season hai....
peene pilane se tauba..

हरकीरत ' हीर' ने कहा…

हम विस्की नहीं पीते हम रम नहीं पीते
हम जाम के नाम पर गम नहीं पीते
अगर मिल जाये यारो की महफ़िल
खुदा की कसम ,फिर किसी से कम नहीं पीते

बल्ले.....!!

रश्मि प्रभा... ने कहा…

waaaaaaaaaaaaaah

रचना दीक्षित ने कहा…

thumbs up

संजय भास्‍कर ने कहा…

MERA HOSLA BADHANE KE LIYA AAP SABHI KA SHUKRIYA

UMEED HAI AGAE BHI MERA HOSHLA BADHAINGE

BrijmohanShrivastava ने कहा…

बहुत अच्छा लगा |ऐसे ही एक सा'ब नीम-बेहोशी सड़क के किनारे डले हुए कह रहे थे -बुरी सोहबत का यही हश्र होता है |हम चार लोगों की महफ़िल थी एक बोतल थी वे तीनो पीते ही नहीं थे

Urmi ने कहा…

वाह वाह क्या बात है! चंद शब्दों में आपने बहुत कुछ कह दिया! बेहतरीन प्रस्तुती!

किरण राजपुरोहित नितिला ने कहा…

कमाल है !!!!!!!!

Kulwant Happy ने कहा…

बहुत खूब। लिखा है।

shama ने कहा…

Jitna chitr sundar utnee hee rachna sashakt!

राज चौहान ने कहा…

बढ़िया अंदाज़ है..जमे रहें.

दिगम्बर नासवा ने कहा…

यारों के यार हैं हम .... क्या बात है ... लाजवाब ... बहुत कुछ मिस किया मैने ....

Yatish ने कहा…

आपने बिना पिए ही बहुत पिला दी

Yatish ने कहा…

बहुत खूब

Unknown ने कहा…

`kya baat hai yaar

Unknown ने कहा…

क्या बात है ... लाजवाब